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सुलतानपुर

चुनावी रंजिश को लेकर निवर्तमान प्रधान परिवार पर हुए प्राणघातक हमले के मामले में पुलिस की पकड़ से दूर हैं कई नामजद आरोपी,डर के साये में पीड़ित पक्ष व वोटर।डेढ़ सप्ताह पूर्व हुए हमले में शफीक समेत अन्य को आई थी गम्भीर चोंटे,10 नामजद समेत अन्य है आरोपी,अब तक मात्र दो गये है जेल।मनबढ़ आरोपियों की गिरफ्तारी न होने की वजह से पीड़ित पक्ष ने कड़ी सुरक्षा के बीच निष्पक्ष चुनाव की मांग को लेकर सम्बन्धित उच्चाधिकारियों को भेजा पत्रथानाध्यक्ष ने कहा,दी जा रही है लगातार दबिश,पर ढूढ़े नही मिल रहे वांछित आरोपी,सहमे है वोटर।

*चुनावी रंजिश को लेकर निवर्तमान प्रधान परिवार पर हुए प्राणघातक हमले के मामले में पुलिस की पकड़ से दूर हैं कई नामजद आरोपी,डर के साये में पीड़ित पक्ष व वोटर*

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*डेढ़ सप्ताह पूर्व हुए हमले में शफीक समेत अन्य को आई थी गम्भीर चोंटे,10 नामजद समेत अन्य है आरोपी,अब तक मात्र दो गये है जेल*

*मनबढ़ आरोपियों की गिरफ्तारी न होने की वजह से पीड़ित पक्ष ने कड़ी सुरक्षा के बीच निष्पक्ष चुनाव की मांग को लेकर सम्बन्धित उच्चाधिकारियों को भेजा पत्र*

*थानाध्यक्ष ने कहा,दी जा रही है लगातार दबिश,पर ढूढ़े नही मिल रहे वांछित आरोपी,सहमे है वोटर*

*रिपोर्ट-अंकुश यादव*
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सुलतानपुर। चुनावी रंजिश को लेकर करीब डेढ़ सप्ताह पूर्व निवर्तमान प्रधान परिवार पर हुए प्राणघातक हमले के मामले में पुलिस मात्र दो आरोपियों को जेल भेज कर कार्यवाही से इतिश्री कर ली है। मामले में कई आरोपी अब भी पुलिस की पकड़ से दूर बने हुए है,परिणामस्वरूप मनबढ़ आरोपी पीड़ित प्रधान प्रत्याशी परिवार और उनके समर्थकों पर लगातार दबाव बनाने के साथ जान से मारने की धमकी दे रहा है। आरोपियों की इस हरकत से डरे पीड़ित पक्ष ने चुनाव आयोग एवं सम्बन्धित उच्चाधिकारियों को पत्र भेजकर कड़ी सुरक्षा के बीच निष्पक्ष ढंग से चुनावी प्रक्रिया सम्पन्न कराने की मांग की है। वहीं थानाध्यक्ष हलियापुर का दावा है कि जल्द ही वांछित चल रहे आरोपियो की गिरफ्तारी कर ली जाएगी।
मामला हलियापुर थाना क्षेत्र के काकरकोला गांव से जुड़ा है। जहां के रहने वाले अतीक अहमद की पत्नी हसीना बानो निवर्तमान प्रधान रहीं और इनके परिवार की अच्छी छवि एवं व्यवहारिक कार्यशैली की वजह से करीब 30 वर्षों से प्रधानी बरकरार रही। हर बार की तरह अतीक अहमद का परिवार इस बार भी प्रधान पद पर चुनाव लड़ रहा है। अतीक अहमद के आरोप के मुताबिक गांव व क्षेत्र में बनी अच्छी छवि की वजह से बौखलाए उनके विपक्षी मर्यादित ढंग से चुनाव लड़ने के बजाय गांव का माहौल खराब कर मारपीट एवं खून-खराबे पर उतर आये है। आरोप के मुताबिक चुनावी रंजिश को ही लेकर बीते आठ अप्रैल को आरोपीगण विनोद कुमार सिंह उर्फ कल्लू,मां सिंह,यशपाल सिंह,जगतपाल सिंह, जंगजीत सिंह, लल्लन सिंह,सूरज सिंह,शैलेंद्र पांडेय, ठाकुरबख्श सिंह, मारकंडेय सिंह एवं उनके अन्य समर्थक अतीक अहमद की तरफ से हो रहे चुनाव प्रचार पर रोक लगाने लगे और लाठी-डंडा व सरिया आदि से लैश होकर हमला बोल दिया। आरोप के मुताबिक आरोपियों के हमले की वजह से शफीक मरणासन्न की स्थिति में आ गया, जिसकी हालत गंभीर देख चिकित्सकों ने उसे जिला अस्पताल से लखनऊ के लिए भी रेफर कर दिया था, वहीं अन्य को भी गंभीर चोटें आई। इस मामले में पुलिस ने हालात सही न देख गांव में सामंजस्य बिगड़ने की स्थिति देखते हुए आरोपी जगतपाल सिंह व लल्लन सिंह को गिरफ्तार कर बीते दस अप्रैल को कोर्ट में पेश किया। दोनो आरोपियों की रिमांड स्वीकृत कर प्रभारी रिमांड मजिस्ट्रेट सिद्धार्थ वर्मा ने उन्हें जेल भेजने का आदेश दिया। जिनकी जमानत अर्जी अवर न्यायालय से खारिज होने के पश्चात जिला एवं सत्र न्यायालय में जमानत अर्जी प्रस्तुत की गई है,जो कि विचाराधीन है। वहीं इस मामले में वांछित चल रहे नामजद आरोपी विनोद सिंह उर्फ कल्लू समेत अन्य अभी फरार चल रहे है। अतीक अहमद का आरोप है कि गिरफ्तारी न होने की वजह से आरोपीगण लगातार उनके परिवार और उनके समर्थकों पर चुनाव का माहौल बिगाड़ने को लेकर एवं मामले में सुलह न करने पर जान से मारने की धमकी दे रहे है। जिसके संबंध में उन्होंने उच्चाधिकारियों से शिकायत कर दी है। पीड़ित पक्ष ने मनबढ़ व आपराधिक किस्म के आरोपियों के भय से निष्पक्ष मतदान न होने का अंदेशा व्यक्त करते हुए गांव में कड़ी सुरक्षा के बीच चुनावी प्रक्रिया सम्पन्न कराने एवं आरोपियों के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई कराने की मांग की है। इस संबंध में थानाध्यक्ष अरशद खान से बात की गई तो उन्होंने कहा कि आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए लगातार दबिश दी जा रही है,उन्होंने कहा जल्द ही उनकी गिरफ्तारी कर ली जाएगी। उन्होंने भरोसा जताया है कि हर हाल में निष्पक्ष व शांतिपूर्ण ढंग से मतदान प्रक्रिया संपन्न होगी। वहीं मिली जानकारी के मुताबिक आरोपियों ने गिरफ्तारी के भय से जिला न्यायालय एवं हाईकोर्ट की भी शरण लेनी शुरू कर दी है,फिलहाल उन्हें अभी तक गिरफ्तारी के संबंध में किसी भी अदालत से कोई राहत नहीं मिल पाई है।

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